जानिए कौन हैं POTUS यानी अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप
डोनाल्ड ट्रम्प को एक साल पहले तक दुनिया में केवल एक अरबपति बिजनेसमैन के रूप में ही पहचाना जाता था।
मल्टीमीडिया डेस्क। अमेरिका के 45वें राष्ट्रपति चुने गए डोनाल्ड ट्रंप रिअल एस्टेट कारोबारी हैं। उन्होंने तीन शादियां की हैं, उनकी 100 कंपनियां हैं और वे 246 अरब की संपत्ति के मालिक हैं। जानिए डोनाल्ड ट्रंप के बारे में अनसुनी बातें:
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अमेरीकी राष्ट्रपति (प्रेसीडेंट इलेक्ट) बनने से एक साल पहले तक डोनाल्ड ट्रम्प को दुनिया में केवल एक अरबपति बिजनेसमैन के रूप में ही पहचाना जाता था। लेकिन अब उनकी पहचान दुनिया के सबसे ताकतवर देश के राष्ट्रपति हो गई है। आइए, जानते हैं उनके जीवन के बारे में कुछ अनछुए पहलु।
जन्मः 14 जून, 1946 (क्वींस, न्यूयार्क सिटी)
माता-पिताः मरियम ऐनी और फ्रेड ट्रम्प
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पूरा नामः डोनाल्ड जॉन ट्रम्प
धर्मः प्रेस्बिटेरियन ईसाई
निवासः ट्रम्प टॉवर, मैनहैटन, अमेरिका
विवाहः ट्रम्प ने तीन शादियां की हैं।
पार्टी : रिपब्लिकन पार्टी
कुल जुटाया गया फंड : $293,319,930 1977 में पहली शादी इवाना जेल्निकोवा के साथ, दूसरी शादी 1993 में मार्ला मैपल्स के साथ और 2005 में मेलानिया नाउस के साथ कीं।
बच्चे: पहली पत्नी इवाना से डोनाल्ड ट्रम्प जूनियर, इवानका ट्रम्प और एरिक ट्रम्प। दूसरी पत्नी मार्ला से टिफ़नी ट्रम्प। तीसरी पत्नी मेलानिया से विलियम ट्रम्प।
हॉबी: लेखन, फुटबॉल और बेसबॉल
शिक्षाः फोडर्म विश्वविद्यालय और पेन्सिलवेनिया विश्वविद्यालय के वार्टन स्कूल ऑफ फाइनेंस एंड कॉमर्स से पढ़ाई।
करिअर की शुरुआतः कॉलेज के समय से ही पिता की कंपनी में काम की शुरुआत। 2011 में फोर्ब्स की टॉप 100 सेलिब्रिटी में नाम शामिल हुआ।
व्यवसायः चेयरमैन और प्रेसीडेंट : द ट्रम्प ऑर्गनाइजेशन अध्यक्ष : ट्रम्प प्लाजा एसोसिएट्स अध्यक्ष : ट्रम्प अटलांटिक सिटी एसोसिएट्स अपरेंटिस
कुल संपति: 3.7 अरब अमेरिकी डॉलर
व्यवस्था को झकझोर कर रख देने की चाह रखने वाले डोनाल्ड ट्रम्प मजबूत इरादों के व्यक्ति हैं। हालांकि बुद्धिजीवियों और विशेषज्ञों को इस बात का डर है कि ट्रम्प अंतरराष्ट्रीय मामलों से मोटे तौर पर अनभिज्ञ हैं।
वे एक व्यापारी हैं, नॉर्थ अटलांटिक ट्रीटी ऑर्गनाइजेशन (नैटो) और कश्मीर जैसे मुद्दों को समझने की अभी कोशिश कर रहे हैं। ऐसे तमाम महत्वपूर्ण मुद्दों पर उनकी राय मूड के हिसाब से बदलती रहती है, फिर वो चाहे भारत का मामला हो, रूस का मामला हो या फिर कुछ और।
हालांकि ट्रम्प, भारत सहित दुनिया के कई देशों की निवेश नीति प्रभावित कर सकते हैं। फिर भी अपने चुनावी माहौल के दौरान हिंदुओं से प्रेम की बात कहकर भारतीय प्रवासियों को रिझाने में कामयाब रहे ट्रम्प को भारत और अमेरिका सहित दुनिया भर के देश एक अनिश्चय के भाव से देखा जा रहा है।
भारत के प्रति ट्रम्प की नीतियां
– भारत के सबसे अच्छे दोस्त साबित होने का हर संभव प्रयास करेंगे।
– भारत में बड़े पैमाने पर निवेश करेंगे।
– कश्मीर मामले पर मध्यस्थता की पेशकश कर सकते हैं।
– भारत में आउटसोर्सिंग के खिलाफ कदम उठाएंगे। यह भारत की आईटी कंपनियों के लिए बुरा कदम होगा।
– इस्लामिक कट्टरपंथ और आतंकवाद के मसले पर पाकिस्तान को रोकने में भारत का साथ दे सकते हैं।
– H1-बी वीज़ा सिस्टम में पूरी तरह बदलाव करेंगे। यह वीजा अमेरिका में अस्थाई रूप से काम करने के लिए दिया जाता है। अधिकांश भारतीय आईटी कंपनियां इस वीजा का इस्तेमाल करती हैं।
भारत चाहता है
– कश्मीर सहित पाकिस्तान के मामले पर अमेरिका का खुला समर्थन।
– दोनों देशों के बीच के कारोबार को 2020 तक 500 अरब अमेरिकी डॉलर (करीब 33,375 अरब रुपए) तक ले जाना।
– अमेरिका ने अजमेर, विशाखापट्टनम और इलाहाबाद को स्मार्ट सिटी के तौर पर विकसित करने में रुचि दिखाई है। इस पर वो फौरन आगे बढ़े।
– भारत के परमाणु-उत्तरदायित्व कानून-2010 यानी ‘सिविल लाएबिलिटी न्यूक्लियर डैमेज एक्ट-2010’ के परमाणु समझौतों के मुताबिक अमेरिका भारत में जल्द से जल्द काम शुरू करे।
– ‘मेक इन इंडिया’ कार्यक्रम की सफलता के लिए भी अमेरिका से नजदीकी मदद की दरकार है।
अमेरिका के लिए नीतियां
– प्रॉपर्टी टैक्स पूरी तरह से खत्म होगा।
– कॉरपोरेट टैक्स की मौजूदा दरें घटेंगी।
– निजी इनकम टैक्स की रियायतें बढ़ेंगी।
– दस साल के भीतर ढाई करोड़ नौकरियों की व्यवस्था होगी।
– अपराधियों से सख्ती से निपटने के लिए कड़े कानून बनेंगे।
– इमिग्रेशन-लॉ में बदलाव होगा। अमेरिका आने वालों की तादाद कम करने के लिए कानूनी तरीका अपनाया जाएगा।
– महिलाओं को छह सप्ताह का मातृत्व अवकाश दिया जाएगा।
– गर्भपात को पूरी तरह से गैरकानूनी बनाया जाएगा और गर्भपात कराने वाली महिलाओं के लिए सजा का प्रावधान होगा।
– दूसरा संविधान संशोधन पूरी तरह से सुरक्षित रखा जाएगा। इसमें किसी तरह की छेड़छाड़ नहीं की जाएगी।
ट्रम्प की विदेश नीति
– चीन को किसी तरह की चुनौती नहीं दी जाएगी।
– अमेरिका और मेक्सिको की सीमा पर दो हजार मील लंबी दीवार बनेगी।
– इस्लामिक स्टेट से सख़्ती से निपटने के लिए अमेरिकी-सेना उसके सफाए के लिएअरब रवाना की जाएगी।
– रूस के साथ संबंध बेहतर करने के प्रयास होंगे।
– मध्य पूर्वी देशों से आने वाले लोगों को अमेरिका में शरण देने से रोकेंगे।
– पेरिस जलवायु समझौते को रद्द करेंगे।
– अमेरिका और ईरान के बीच हुई परमाणु संधि टलेगी।